Types of pranayam in hindi : प्राणायाम के प्रकार, लाभ, नियम आदि जाने।



प्राणायाम के प्रकार



Types of pranayam 


प्राणायाम का हमारे जीवन से खास महत्व है,प्राणायाम 2 शब्दों के मेल से बना है प्राण और आयाम, प्राण का अर्थ होता है जो हम सांस ऊपर नीचे करते हैं उससे प्राण कहते हैं और आयाम जो हम अपने शरीर को स्वस्थ रखने के लिए करते हैं। प्राणायाम का अर्थ यही होता है हम अपनी बॉडी को स्वस्थ और बॉडी को हर प्रकार के बीमारी से दूर रखने के लिए हम प्राणायाम करते हैं। यह प्राणायाम हमारी दिमाग को भी तेज करता है जो हम प्राणायाम के समय सांस को ऊपर नीचे करते हैं तब हमारे मस्तिष्क में एक नई ऊर्जा का संचार होता है और यही उड़ जा मारी पूरी बॉडी में संचार करने लगती है जिसे हम प्राणवायु कहते हैं।



प्राणवायु क्या होता है, प्राणवायु वह प्राणवायु है जो माय बॉडी में देवी शक्ति को प्रदान करता है यह हमें शक्ति प्राणायाम से मिलती है प्रणाम करने से ऐसी ही बहुत सी शक्तियां है जिसे हम प्राप्त कर सकते हैं, हम आपको बता दें कि प्राणायाम करना बहुत ही आवश्यक है प्राणायाम करने से हमें किसी भी प्रकार की बीमारी नहीं होती है और जो व्यक्ति प्राणायाम करता है उसके चेहरे पर हमेशा चमक रहती है।

प्राणायाम के प्रकार ( types of pranayam )


1. नाड़ी शोधन प्राणायाम

2. शीतली प्राणायाम

3. उज्जायी प्राणायाम

4. कपालभाति प्राणायाम

5. डिग्र प्राणायाम

6. भस्त्रिका प्राणायाम

7. बाह्य प्राणायाम

8. भ्रामरी प्राणायाम

9.  उदित प्राणायाम 

10. अनुलोम विलोम प्राणायाम

11. अग्निसार प्राणायाम


प्राणायाम के लाभ  :-  ( benefits of pranayama in Hindi ) 


1. प्राणायाम  करने से हमें अस्थमा और तनाव आदि से छुटकारा मिल जाता है।

2. प्राणायाम करने से हमारी दृढ़ इच्छा शक्ति मजबूत होती है।

3. प्राणायाम करने से हमें किसी भी प्रकार का रोग नहीं होता है, जो व्यक्ति प्राणायाम करता है उसे कभी सर्दी नहीं होती।

4. प्राणायाम करने से आपकी बॉडी में प्राण शक्ति का संचार होता है।


5.  प्राणायाम को करने से आपकी बॉडी में किसी भी प्रकार की बीमारी नहीं होगी और आपके शरीर में एक नई ऊर्जा आपको दिखाई देगी। 



प्राणायाम के विभिन्न अवस्थाएं हैं। प्राणायाम को हम अपने जरूरत के मुताबिक प्राणायाम को करके हम अपनी परेशानियों को दूर कर सकते हैं।


प्राणायाम के मुख्य 11 प्रकार है और हर एक को प्रणाम में अलग-अलग प्रकार के फल मिलते हैं अगर आप अलोम विलोम करते हैं तो इससे आपके नाड़ियों में अगर प्रॉब्लम है तो आपको उससे छुटकारा मिलेगा। अलोम विलोम करने से आपके बॉडी में एक नई ऊर्जा का संचार होता है जिसे प्राणवायु कहते हैं।



इसी तरह से 10 प्राणायाम है जो उनका अपना अपना अलग महत्व है जिस तरह से अलोम विलोम बॉडी में एक नई ऊर्जा का संचार करता है उसी तरह से यह प्राणायाम भी आपके बॉडी को मेंटेन रखने के लिए बहुत फायदेमंद है।

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